ट्राई ने इसके साथ ही इसने कहा है कि सम्बद्ध दूरसंचार कंपनियां एमएनपी के लिए इससे भी कम राशि शुल्क के रूप में लेने को स्वतंत्र हैं.
दूरसंचार नियामक ट्राई ने मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी (एमएनपी) की दर 31 जनवरी को लगभग 79 प्रतिशत घटाकर अधिकतम चार रुपये कर दी. नियामक ने इस काम की कम लागत तथा बड़ी संख्या को ध्यान में रखते हुए यह फैसला किया है. एमएनपी से आशय किसी ग्राहक द्वारा अपने मौजूदा मोबाइल नंबर को बनाए रखते हुए ही सेवा प्रदाता कंपनी बदलने से है. भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकार (ट्राई) ने एक बयान में कंपनियों को निर्देश दिया है कि वे हर सफल पोर्टिंग के लिए प्रति पोर्ट शुल्क को 19 रुपए से घटाकर चार रुपए करें.
इसके साथ ही इसने कहा है कि सम्बद्ध दूरसंचार कंपनियां एमएनपी के लिए इससे भी कम राशि शुल्क के रूप में लेने को स्वतंत्र हैं. उल्लेखनीय है कि ट्राई ने एमएनपी शुल्क दरों की समीक्षा के लिए परामर्श प्रक्रिया दिसंबर में शुरू की थी. नयी शुल्क दर आधिकारिक गजट में अधिसूचित होने के दिन से लागू होगी. दूरसंचार कंपनियों का कहना है कि इससे उन पर एमएनपी लागत बोझ कम होगा.
भारत के प्रीमियम स्मार्टफोन बाजार में 20 प्रतिशत बढ़ोतरी: काउंटरप्वॉइंट
शोध फर्म काउंटरप्वॉइंट रिसर्च ने बुधवार (31 जनवरी) को कहा कि भारत में प्रीमियम स्मार्टफोन खंड में सालाना आधार पर 2017 में 20 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि दर्ज की गई. इस खंड में 30,000 रुपये व इससे महंगे स्मार्टफोन आते हैं. फर्म का कहना है कि एपल व वनप्लस जैसे ब्रांडों की अच्छी बिक्री के चलते आलोच्य साल में प्रीमियम स्मार्टफोन खंड में यह बढ़ोतरी दर्ज की गई.
इसके अनुसार बीते साल प्रीमियम स्मार्टफोन खंड संख्या के लिहाज से दूसरा सबसे बड़ा खंड रहा और इसमें 20 प्रतिशत बढ़ोतरी हुई. वहीं मूल्य के लिहाज से इसमें 2017 में 28 प्रतिशत की बढ़ोतरी दर्ज की गई. इस खंड में 94 प्रतिशत हिस्सा तीन ब्रांड (एपल, वनप्लस व सैमसंग) का है. इस खंड में एपल की हिस्सेदारी अक्तूबर-दिसंबर तिमाही में 47% जबकि समूचे कैलेंडर वर्ष के लिए 38% रही.